• होम पेज
  • टीम अफ़लातून
No Result
View All Result
डोनेट
ओए अफ़लातून
  • सुर्ख़ियों में
    • ख़बरें
    • चेहरे
    • नज़रिया
  • हेल्थ
    • डायट
    • फ़िटनेस
    • मेंटल हेल्थ
  • रिलेशनशिप
    • पैरेंटिंग
    • प्यार-परिवार
    • एक्सपर्ट सलाह
  • बुक क्लब
    • क्लासिक कहानियां
    • नई कहानियां
    • कविताएं
    • समीक्षा
  • लाइफ़स्टाइल
    • करियर-मनी
    • ट्रैवल
    • होम डेकोर-अप्लाएंसेस
    • धर्म
  • ज़ायका
    • रेसिपी
    • फ़ूड प्लस
    • न्यूज़-रिव्यूज़
  • ओए हीरो
    • मुलाक़ात
    • शख़्सियत
    • मेरी डायरी
  • ब्यूटी
    • हेयर-स्किन
    • मेकअप मंत्र
    • ब्यूटी न्यूज़
  • फ़ैशन
    • न्यू ट्रेंड्स
    • स्टाइल टिप्स
    • फ़ैशन न्यूज़
  • ओए एंटरटेन्मेंट
    • न्यूज़
    • रिव्यूज़
    • इंटरव्यूज़
    • फ़ीचर
  • वीडियो-पॉडकास्ट
ओए अफ़लातून
Home ज़रूर पढ़ें

बच्चों के लिए फ़ायदेमंद नहीं होती हेलिकॉप्टर पैरेंटिंग

टीम अफ़लातून by टीम अफ़लातून
January 18, 2022
in ज़रूर पढ़ें, पैरेंटिंग, रिलेशनशिप
A A
बच्चों के लिए फ़ायदेमंद नहीं होती हेलिकॉप्टर पैरेंटिंग
Share on FacebookShare on Twitter

वर्ष 1969 में डॉक्टर हाइम गिनॉट ने अपनी किताब पैरेंट्स ऐंड टीनएजर्स में कुछ किशोरों के बारे में बात करते हुए ‘हेलिकॉप्टर पैरेंट’ टर्म का इस्तेमाल किया था. इन किशोरों ने उन्हें बताया था कि कैसे उनके पैरेंट्स उनके ऊपर किसी हेलिकॉप्टर की तरह मंडराते रहते हैं. यदि आपका सामना ‘हेलिकॉप्टर पैरेंटिंग’ टर्म से पहली बार पड़ा है तो ज़रूरत है कि पहले आप इसको समझें और फिर आंकें. यहां हम आपको इसके बारे में कई काम की बातें बताने जा रहे हैं, जो आपके और आपके बच्चे/बच्चों के बीच संबंधों को सुधारने का काम करेंगी.

यदि आप अक्सर इस बात को लेकर असमंजस में रहते/रहती हैं कि अपने बढ़ते हुए बच्चे के रोज़मर्रा के कामों, पढ़ाई, खेल-कूद वगैरह पर आपको कितना ध्यान देना चाहिए, किस हद तक इसमें शामिल होना चाहिए तो आप सही आलेख पर हैं. यहां आप जानेंगे कि आख़िरकार हेलिकॉप्टर पैरेंट्स कैसे होते हैं और ऐसे पैरेंट्स होना सही है या नहीं है.

तो क्या है यह?
हेलिकॉप्टर पैरेंटिंग का सीधा अर्थ है- ऐसे माता-पिता, जो अपने बच्चों पर ज़रूरत से ज़्यादा ध्यान देते हैं. ख़ासतौर पर जब बच्चे की सफलता या असफलता की बात आए तो उनकी हर बात में दख़लअंदाज़ी करते हैं. सीधे तौर पर इसे ‘ओवर पैरेंटिंग’ भी कहा जाता सकता है. इससे मिलते-जुलते कई और टर्म भी इस्तेमाल किए जाते हैं, जैसे- लॉनमोअर पैरेंटिंग या बुलडोज़ पैरेंटिंग या फिर कॉसेट पैरेंटिंग. इस तरह के पैरेंट्स अपने बच्चों के जीवन में ज़रूरत से अधिक दख़ल देते हैं, उन्हें कंट्रोल करना चाहते हैं, उनकी ज़्यादा चिंता करते हैं यानी कुल मिलाकर बहुत ज़्यादा ही ज़िम्मेदार पैरेंट्स की भूमिका निभाते हैं.

इन्हें भीपढ़ें

फ़िक्शन अफ़लातून#14 मैं हार गई (लेखिका: मीता जोशी)

फ़िक्शन अफ़लातून#14 मैं हार गई (लेखिका: मीता जोशी)

March 22, 2023
Fiction-Aflatoon

फ़िक्शन अफ़लातून प्रतियोगिता: कहानी भेजने की तारीख़ में बदलाव नोट करें

March 21, 2023
सशक्तिकरण के लिए महिलाओं और उनके पक्षधरों को अपने संघर्ष ध्यान से चुनने होंगे

सशक्तिकरण के लिए महिलाओं और उनके पक्षधरों को अपने संघर्ष ध्यान से चुनने होंगे

March 21, 2023
फ़िक्शन अफ़लातून#13 लेकिन कैसे कह दूं इंतज़ार नहीं… (लेखिका: पद्मा अग्रवाल)

फ़िक्शन अफ़लातून#13 लेकिन कैसे कह दूं इंतज़ार नहीं… (लेखिका: पद्मा अग्रवाल)

March 20, 2023

हेलिकॉप्टर पैरेंट आख़िर करते क्या हैं?
वे अपने हाइ स्कूल या कॉलेज तक के बच्चों की बात-बात पर मदद करने लगते हैं. उन कामों में भी मदद करना चाहते हैं, जिन्हें इस उम्र के बच्चे आसानी से कर सकते हैं. उदाहरण के लिए यदि बच्चे के नंबर कम आए तो उसके टीचर्स से बात करना, उनका बैग लगाना या फिर उनकी खेल-कूद या एक्सरसाइज़ जैसी गतिविधियों को भी नियंत्रित करना.
यदि आप ऐसा सोचते हैं कि हेलिकॉप्टर पैरेंट्स यह काम केवल अपने बड़े, प्री-टीनएजर्स या टीनएजर्स के साथ ही करते हैं तो आप ग़लत हैं, वे अपने छोटे बच्चों के साथ भी इसी तरह का बर्ताव करते हैं. वे अपने छोटे बच्चों के दोस्तों के चुनाव में, उनके कोच के चुनाव में पूरा दख़ल रखना चाहते हैं. वे उनके होमवर्क और स्कूल प्रोजेक्ट्स भी उन्हें अकेले नहीं करने देना चाहते हैं.

आख़िर क्यों हो जाते हैं पैरेंट्स ऐसे?
यदि आप जानना चाहते हैं कि पैरेंट्स ऐसे क्यों हो जाते हैं तो इसकी वजहें हो सकती हैं. कुछ मुख्य वजहें हैं:
* उन्हें लगता है कि यदि वे अपने बच्चों का इस तरह ध्यान नहीं रखेंगे तो शायद उसके नतीजे ख़राब निकलेंगे. उनके भीतर एक तरह की असुरक्षा की भावना होती है.
* यदि पैरेंट्स का बचपन ऐसा बीता हो, जहां उनपर ध्यान नहीं दिया गया हो तो वे अपने बच्चों का ज़रूरत से ज़्यादा ध्यान रखने लगते हैं, क्योंकि उन्हें लगता है कि कहीं उनका बच्चा भी ख़ुद को उनकी तरह स्नेह से वंचित न समझने लगे.
* दूसरे पैरेंट्स को अपने बच्चों की ज़रूरत से ज़्यादा देखभाल करते देखने पर भी कई पैरेंट्स पीयर प्रेशर में आकर भी कई पैरेंट्स सामान्य पैरेंट्स से हेलिकॉप्टर पैरेंट्स बन जाते हैं.

क्या कहते हैं शोध?
स्टैनफ़ोर्ड एजुकेशन प्रोफ़ेसर जेलेना ऑब्रेडोविक द्वारा की गई एक स्टडी, जो जर्नल ऑफ़ फ़ैमिली साइकोलॉजी में छपी थी, के अनुसार, पैरेंट्स का बच्चों के साथ कुछ हद तक सक्रिय तरीक़े से घुलना-मिलना जहां बच्चे के लिए अच्छा होता है, वहीं यदि पैरेंट्स बच्चे को बहुत अधिक निर्देश देने लगते हैं तो कई बार यह उनके क्रियाकलाप और विकास पर प्रतिकूल असर भी डालता है.
यूं भी बच्चों को बड़ा करना एक ऐसा काम है, जहां कई बातों के बीच में सूतभर का अंतर भी अलग तरह से असर डालता है. अत: यदि पैरेंटिंग किसी डर को मन में रखते हुए की जाए तो हम बच्चों को उनका वह खुला आसमान नहीं दे पाते, जहां वे ख़ुद गिर कर, ख़ुद ही उठना सीखते हैं और यह बात बच्चों के विकास में बाधा बन सकती है.

हेलिकॉप्टर पैरेंटिंग के परिणाम
पैरेंटिंग की ऐसी प्रक्रिया बच्चे के स्वाभाविक विकास में रोड़ा अटकाती है. आइए जानते हैं कि हेलिकॉप्टर पैरेंटिंग के और क्या परिणाम हो सकते हैं:
• बच्चे का आत्मविश्वास डगमगा सकता है. पैरेंट्स की ज़्यादा दख़लंदाज़ी से उसे यूं लगता है, जैसे- मेरे माता-पिता को इस बात का भरोसा नहीं है कि मैं यह काम अकेले कर सकती/सकता हूं.
• बच्चे अपने जीवन में तनाव, असफलता या छोटी-मोटी निराशा से ख़ुद ही उबरना नहीं सीख पाते.
• बच्चों में चिंता और तनाव का स्तर बढ़ जाता है. एक शोध में यह पाया गया है कि ओवर पैरेंटिंग की वजह से बच्चों में चिंता और डिप्रेशन बढ़ जाता है.

फ़ोटो: पिन्टरेस्ट

Tags: consequences of helicopter parentinghelicopter parentingover parentingParentingwhat is helicopter parentingओवर पैरेंटिंगपरवरिशपैरेंटिंगहेलिकॉप्टर पैरेंटिंगहेलिकॉप्टर पैरेंटिंग के परिणामहेलिकॉप्टर पैरेंटिंग क्या है
टीम अफ़लातून

टीम अफ़लातून

हिंदी में स्तरीय और सामयिक आलेखों को हम आपके लिए संजो रहे हैं, ताकि आप अपनी भाषा में लाइफ़स्टाइल से जुड़ी नई बातों को नए नज़रिए से जान और समझ सकें. इस काम में हमें सहयोग करने के लिए डोनेट करें.

Related Posts

फ़िक्शन अफ़लातून#12 दिखावा या प्यार? (लेखिका: शरनजीत कौर)
ज़रूर पढ़ें

फ़िक्शन अफ़लातून#12 दिखावा या प्यार? (लेखिका: शरनजीत कौर)

March 18, 2023
फ़िक्शन अफ़लातून#11 भरा पूरा परिवार (लेखिका: पूजा भारद्वाज)
ज़रूर पढ़ें

फ़िक्शन अफ़लातून#11 भरा पूरा परिवार (लेखिका: पूजा भारद्वाज)

March 18, 2023
फ़िक्शन अफ़लातून#10 द्वंद्व (लेखिका: संयुक्ता त्यागी)
ज़रूर पढ़ें

फ़िक्शन अफ़लातून#10 द्वंद्व (लेखिका: संयुक्ता त्यागी)

March 17, 2023
Facebook Twitter Instagram Youtube
ओए अफ़लातून

हर वह शख़्स फिर चाहे वह महिला हो या पुरुष ‘अफ़लातून’ ही है, जो जीवन को अपने शर्तों पर जीने का ख़्वाब देखता है, उसे पूरा करने का जज़्बा रखता है और इसके लिए प्रयास करता है. जीवन की शर्तें आपकी और उन शर्तों पर चलने का हुनर सिखाने वालों की कहानियां ओए अफ़लातून की. जीवन के अलग-अलग पहलुओं पर, लाइफ़स्टाइल पर हमारी स्टोरीज़ आपको नया नज़रिया और उम्मीद तब तक देती रहेंगी, जब तक कि आप अपने जीवन के ‘अफ़लातून’ न बन जाएं.

संपर्क

ईमेल: [email protected]
फ़ोन: +91 9967974469
+91 9967638520
  • About
  • Privacy Policy
  • Terms

© 2022 Oyeaflatoon - Managed & Powered by Zwantum.

No Result
View All Result
  • सुर्ख़ियों में
    • ख़बरें
    • चेहरे
    • नज़रिया
  • हेल्थ
    • डायट
    • फ़िटनेस
    • मेंटल हेल्थ
  • रिलेशनशिप
    • पैरेंटिंग
    • प्यार-परिवार
    • एक्सपर्ट सलाह
  • बुक क्लब
    • क्लासिक कहानियां
    • नई कहानियां
    • कविताएं
    • समीक्षा
  • लाइफ़स्टाइल
    • करियर-मनी
    • ट्रैवल
    • होम डेकोर-अप्लाएंसेस
    • धर्म
  • ज़ायका
    • रेसिपी
    • फ़ूड प्लस
    • न्यूज़-रिव्यूज़
  • ओए हीरो
    • मुलाक़ात
    • शख़्सियत
    • मेरी डायरी
  • ब्यूटी
    • हेयर-स्किन
    • मेकअप मंत्र
    • ब्यूटी न्यूज़
  • फ़ैशन
    • न्यू ट्रेंड्स
    • स्टाइल टिप्स
    • फ़ैशन न्यूज़
  • ओए एंटरटेन्मेंट
    • न्यूज़
    • रिव्यूज़
    • इंटरव्यूज़
    • फ़ीचर
  • वीडियो-पॉडकास्ट
  • टीम अफ़लातून

© 2022 Oyeaflatoon - Managed & Powered by Zwantum.

Welcome Back!

Login to your account below

Forgotten Password?

Retrieve your password

Please enter your username or email address to reset your password.

Log In

Add New Playlist