अपने साथी की बेवफ़ाई से आपका दिल टूट सकता है, आप आहत हो सकती/सकते हैं. लेकिन क्या आपने ग़ौर किया है कि अक्सर जब रिश्तों में कोई साथी बेवफ़ाई करता है तो दूसरे साथी का व्यवहार और प्रतिक्रिया उसकी अपनी सोच और समझ के मुताबिक़ न होकर केवल समाज के बनाए नियमों के मुताबिक़ ही होती है. जब बात विश्वासघात की हो तो क्या इस बात पर ध्यान नहीं दिया जाना चाहिए कि आपकी प्रतिक्रिया, आपकी ख़ुद की हो, न कि किसी बने-बनाए नियम के अधीन हो. यहां हम आपको एक्स्पर्ट की राय के आधार पर बता रहे हैं कि रिश्तों में बेवफ़ाई से कैसे निपटना चाहिए.
बेवफ़ाई से कैसे निपटना चाहिए? सच पूछिए तो इसका कोई सही या ग़लत जवाब नहीं हो सकता. बहुत कुछ पूरी तरह इस बात पर निर्भर करता है कि आपकी सहनशक्ति का स्तर क्या है और हर कपल के बीच यह सहनशक्ति अलग-अलग हो सकती है. यूं तो हर व्यक्ति की सहनशक्ति भी अलग-अलग ही होती है.
अक्सर विश्वासघात के प्रति हमारी प्रतिक्रिया इस बात पर निर्भर नहीं करती है कि व्यक्तिगत तौर पर हम ख़ुद इस धोखेबाज़ी के बारे में क्या सोचते हैं, क्योंकि हमें पहले ही यह सिखा दिया गया है कि हमें अपने साथी की बेवफ़ाई पर ‘कैसा सोचना चाहिए’.
यही वजह है कि अधिकतर लोग अपने साथी की बेवफ़ाई या वन नाइट स्टैंड के बारे में जानकारी होते ही अपना बैग पैक करते हैं और साथी को छोड़ देते हैं, लगभग तुरंत ही, अपने साथी से कोई चर्चा किए बिना. क्योंकि उनके पास पहले से लिखी हुई एक स्क्रिप्ट है, जो बताती है कि उन्हें ऐसा करना चाहिए और इसलिए वे भी सोचते हैं उन्हें ऐसा ही करना चाहिए.
वात्स्यायन ने क्या लिखा है इस बारे में
बहुत से लोग रिश्ते में बेवफ़ाई से आहत और धोखा खाया हुआ महसूस करते हैं, क्योंकि आज के समय में उन्हें उस समय की तुलना में अपने ‘आदर्श’ एक विवाह/साथी वाले रिश्ते से बहुत-सी अपेक्षाएं होती हैं, जब मानव इतिहास में स्त्री और पुरुष को सेक्शुअल विकल्पों में ज़्यादा स्वतंत्रता, ज़्यादा लचीलापन उपलब्ध था, वो भी सहजता से बिना आलोचना के, जिसका वे खुलकर आनंद उठाया करते थे.
बहुत-सी महिला पाठिकाएं शायद इस बात को पढ़कर नाराज़ हो जाएंगी या चौंक जाएंगी कि कामसूत्र के संकलनकर्ता वात्स्यायन ने कितने अनौपचारिक तरीक़े से एक अध्याय इस बात पर लिखा है कि रिश्तों में बड़ी पत्नी, छोटी पत्नी और सह पत्नियों की भूमिका कैसी होनी चाहिए, जैसे कि यह जीवन का एक सच है. यही नहीं, इस मामले में निष्पक्ष रहते हुए वात्स्यायान ने महिलाओं से भी कहा है कि यदि वे अपने पति से ख़ुश नहीं हैं तो उन्हें उसे छोड़ देना चाहिए.
आधुनिक वैज्ञानिक और थेरैपिस्ट्स का नज़रिया
यदि आपको लगता है कि तीसरी शताब्दी के भारत की बात बहुत पहले की बात है तो मानवविज्ञानी विलियम डेवनपोर्ट की सुनें, जो वर्ष 1960 में मेलानेशिया के लोगों के बीच रहे, जो दक्षिण-पश्चिमी प्रशांत महासागर में स्थित कुछ द्वीपों के समूहों वाला देश है. उन्होंने पाया कि अपनी शादी को लंबे समय तक बनाए रखने के लिए, जब कपल्स की एक-दूसरे में दिलचस्पी कम होती थी तो वहां के जोड़े सेक्शुअल विकल्प खुले रखते थे. यह प्रथा वहां पर इसाई उपनिवेशियों के आने तक जारी रही, जिन्होंने अपने आगमन के बाद इसे नैतिकता का हवाला देकर ख़त्म करवा दिया.
अमेरिकी सेक्स रिसर्चर्स विलियम मास्टर्स और वर्जिनिया जॉन्सन, जो आधुनिक सेक्स थेरैपी के मार्गदर्शक हैं, उन्होंने पाया कि यदि किसी रिश्ते में सेक्शुअल दिलचस्पी ख़त्म हो रही है तो इस रुचि को वापस लौटाया जा सकता है,‘‘यदि पुरुष की एक कम उम्र की प्रेमिका हो-भले ही वह पुरुष की पत्नी जितनी सुंदर और सेक्शुअल कुशलता रखनेवाली न हो.’’
जानें एक्स्पर्ट की सलाह
रिश्तों के मामले में वात्स्यायन चाहे जो कहें या कहीं दूर स्थित द्वीपों के वासी सेक्शुअल नवीनता के लिए चाहे जो करते हों, लेकिन आधुनिक समय के जोड़े, जिन्हें इस बात से कोई ख़ास सरोकार नहीं है, रिश्तों में बेवफ़ाई के मामले में क्या कर सकते हैं? यह बात हमने डॉक्टर शर्मिला मजूमदार से पूछी, जो आइकान स्कूल ऑफ़ मेडिसिन, अमेरिका, से बोर्ड सर्टिफ़ाइड भारत की एकमात्र महिला सेक्सोलॉजिस्टऔर वीवॉक्स की संस्थापक सदस्य भी हैं.
डॉक्टर शर्मिला मजूमदार कहती हैं,‘‘बेवफ़ाई को बहुत गहराई से समझे जाने की ज़रूरत है. बेवफ़ाई एक ख़ुशनुमा रिश्ते में भी हो सकती है. प्रेम-संबंध यानी अफ़ेयर का अर्थ आपकी शादी का अंत नहीं है. इसके उपचार के लिए इन बातों का प्रयास करें:
थोड़ा विराम दें
यह ऐसा निर्णय नहीं है, जिसे आप अपने भावनात्मक संघर्ष के दौरान ले सकें. अत: ख़ुद को और अपने पार्टनर को समय दें. थोड़ा विराम लेकर सोचें. यदि अच्छी तरह कोशिश की जाए तो आपके बीच विश्वास दोबारा पनप सकता है.
ज़िम्मेदारी लें
यदि आपने बेवफ़ाई की है तो इस बात की ज़िम्मेदारी लें. यह अनिवार्य है कि आप उस व्यक्ति के साथ अपनी बातचीत बंद कर दें. यदि आपका प्रेम-संबंध किसी सहकर्मी से है तो उसके साथ अपने संपर्क केवल कामकाज तक सीमित कर दें और कोशिश करें कि आप दूसरी नौकरी लें या फिर अपना ट्रांस्फ़र करवा लें.
मदद मांगें
आपको आलोचनात्मक रूप से न परखने वाले मित्रों या फिर प्रशिक्षित काउंसलर्स से मदद लें. डॉक्टर्स या फिर विवाह थेरैपी में प्रशिक्षित थेरैपिस्ट, जो बेवफ़ाई के मामलों पर काम करते हैं, उनसे भी मदद ली जा सकती है.
फ़ोटो: गूगल