हम सभी प्राकृतिक, नैचुरल चीज़ों की बात करते हैं, लेकिन जब बात त्वचा की देखभाल की आती है तो कृत्रिम चीज़ों को इस्तेमाल सबसे पहले करने लगते हैं. जबकि नीम का पेड़, जो आपके घर के आसपास ही मौजूद है, वो त्वचा की देखभाल के लिए आपको सबसे कारगर प्राकृतिक तरीक़े देता है. आयुर्वेद में नीम का इस्तेमाल हज़ारों सालों से हो रहा है, क्योंकि ये बिना कोई नुक़सान पहुंचाए हमें स्वस्थ रखता है और हमारी सुंदरता में इज़ाफ़ा करता है. आइए जानें, कैसे नीम का इस्तेमाल कर त्वचा की देखभाल की जा सकती है.
नीम के पेड़ का कोई भी ऐसा हिस्सा नहीं है, जिसमें हमारी त्वचा की सुंदरता को बढ़ाने का गुण मौजूद न हो. इसकी पत्तियां, बीज, छाल और यहां तक इसकी जड़ भी हमारे स्वास्थ्य और त्वचा के लिए बेहतरीन होती हैं. इन सभी में ऐंटीसेप्टिक, ऐंटीफंगल और ऐंटी इन्फ़्लैमटॉरी गुण होते हैं. रही नहीं इनमें विटामिन E और फ़ैटी ऐसिड्स भी प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं. यूं तो हम कहेंगे कि आप सीधे ही नीम को अपनी त्वचा की देखभाल के लिए इस्तेमाल करें, लेकिन यदि आपको इसमें असुविधा हो तो नीम से बनें सौंदर्य प्रसाधनों का इस्तेमाल भी किया जा सकता है.
नीम की पत्तियों का यूं करें इस्तेमाल
नीम की पत्तियां तो बड़ी आसानी से मिल जाती हैं. बड़े शहरों में तो अब इन्हें फूल बेचने वाले भी बेचा करते हैं. त्वचा की देखभाल के लिए इन पत्तियों का इस तरह उपयोग करें:
1. नीम की कुछ पत्तियों को थोड़े से पानी में उबालें और पीस लें. इसमें शहद और दही मिलाएं. इस फ़ेस मास्क को सप्ताह में एक से दो बार अपने चेहरे पर लगाएं. इससे आपको मुहांसे नहीं होंगे, यदि हैं तो ठीक हो जाएंगे. साथ ही, ब्लैकहेड्स और वाइट हेड्स की समस्या से भी छुटकारा मिलेगा.
2. नीम के पानी से नहाना भी त्वचा की कई तरह की त्वचा संबंधी समस्याओं से निजात दिलाता है, जैसे- खुजली, इन्फ़ेक्शन, मुहांसे, वाइटहेड्स वगैरह. इसके लिए आपको करना बस ये होगा कि नीम की लगभग 50-100 पत्तियों को पानी डालकर उबालें. जब पानी का रंग हरा दिखाई देने लगे तो आंच बंद कर के पानी को ठंडा होने दें. अब इसे छान कर एक बॉटल में भर लें. जब भी नहाएं तो 150-200 मिली नीम का यह पानी अपनी पानी की बकेट में मिला लें.
3. ऊपर बताए तरीक़े से नीम का पानी बनाएं और उसे बॉटल में भर लें. इस पानी का इस्तेमाल टोनर की तरह करें. इस पानी से चेहरे को साफ़ करने से मुहांसे और चेहरे के दाग़-धब्बे दोनों ही दूर हो जाएंगे. यही नहीं, यदि आप शैम्पू करने के बाद नीम के पानी से बाल धोएंगी तो बाल झड़ने की समस्या, डैंड्रफ़ और बालों में जुएं की समस्या से भी निजात मिलेगी.
4. नीम की पत्तियों को सुखा कर उन्हें पीस कर पाउडर बना कर रखें. दो टीस्पून पाउडर में दही और शहद मिला कर फ़ेस पैक बनाएं और चेहरे पर लगाएं. लगभग 20 मिनट बाद चेहरा धो लें. इससे मुहांसे दूर होंगे और त्वचा आभावान बनेगी.
बीज, जड़, छाल और नीम के तेल का यूं करें इस्तेमाल
जैसा कि हमने आपको पहले ही बताया कि नीम में ऐंटी-इन्फ़्लैमटॉरी और ऐंटी-फंगल गुण होते हैं, जो नीम के पेड़ के सभी अंगों (पत्तियां, बीज, छाल और जड़) में पाए जाते हैं. इनका इस्तेमाल कई तरह की दवाएं बनाने में भी होता है. आइए, इसके बारे में जानें:
1. नीम की पत्तियों और बीज के सत्व से ऐसी दवाइयां बनती हैं, जिनसे चोट लगने पर, जलने पर, कान में दर्द, मोच आने पर और सिरदर्द आदि में राहत मिलती है. यही वजह है कि घाव या चोट पर नीम की पत्तियों को पीस कर उनका लेप लगाया जा सकता है.
2. नीम की पत्तियों और बीजों को दही के साथ पीस कर उसका लेप लगाने से खुजली, दाद जैसी त्वचा संबंधी समस्याएं ठीक होती हैं.
3. नीम के पेड़ की छाल, बीज और जड़ के पाउडर को बालों में लगाने से जुओं और रूसी की समस्या से निजात मिलती हैं.
4. नीम के तेल का उपयोग यूं तो कई तरह के ब्यूटी और स्किनकेयर प्रोडक्ट्स में होता है, क्योंकि यह भी ऐंटी-बैक्टीरियल और ऐंटीफंगल होता है. लेकिन आप नीम के तेल में जैतून का तेल मिला कर इसे मुहांसों पर लगाएं तो मुहांसे जल्द ही ठीक हो जाएंगे. सोरायसिस की समस्या में भी नीम के तेल का इस्तेमाल राहत देता है.
फ़ोटो : फ्रीपिक